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विश्व मधुमेह दिवस 2025 की थीम: 'मधुमेह और कल्याण' — सिर्फ शुगर कंट्रोल नहीं, जीवन की गुणवत्ता पर जोर

दैनिक राजस्थान समाचार विजयपाल सिंह राठौड़। 14 नवंबर, 2025: अंतर्राष्ट्रीय स्वास्थ्य समुदाय हर साल विश्व मधुमेह दिवस मनाता है, और वर्ष 2025 के लिए जो थीम चुनी गई है—”मधुमेह और कल्याण” (Diabetes and Wellness)—वह इस वैश्विक स्वास्थ्य चुनौती से निपटने के तरीके में एक महत्वपूर्ण बदलाव का संकेत देती है।

स्वामी विवेकानंद राजकीय मॉडल स्कूल आसींद के उप प्रधानाचार्य, डॉ. विकास टेलर, जो एक सीबीएसई सर्टिफाइड टर्नर भी हैं, ने इस थीम पर प्रकाश डालते हुए एक व्यापक लेख जारी किया है। उन्होंने जोर दिया है कि मधुमेह (Diabetes) केवल रक्त शर्करा के स्तर को नियंत्रित करने का मामला नहीं है, बल्कि यह रोगी के संपूर्ण शारीरिक, मानसिक और सामाजिक कल्याण से जुड़ा हुआ है।

🚨 मधुमेह: एक बढ़ती हुई वैश्विक महामारी

इंटरनेशनल डायबिटीज फेडरेशन (IDF) के आंकड़े बताते हैं कि दुनिया भर में करोड़ों लोग मधुमेह से पीड़ित हैं, और भारत भी इस बीमारी के बढ़ते बोझ से जूझ रहा है। मधुमेह तब होता है जब शरीर पर्याप्त इंसुलिन का उत्पादन नहीं कर पाता या उसका प्रभावी ढंग से उपयोग नहीं कर पाता, जिससे हृदय, किडनी, आंख और तंत्रिका तंत्र को गंभीर नुकसान पहुँच सकता है।

“मधुमेह से पीड़ित लोगों को सिर्फ दवाइयां ही नहीं, बल्कि सामाजिक और भावनात्मक समर्थन भी मिलना चाहिए ताकि वे एक स्वस्थ और खुशहाल जीवन जी सकें। 2025 की थीम इसी समग्र दृष्टिकोण को बढ़ावा देती है,” डॉ. टेलर ने अपने लेख में कहा।

🏃‍♀️ कल्याण पर केंद्रित नई रणनीति

थीम “मधुमेह और कल्याण” के तहत, फोकस अब सिर्फ चिकित्सा उपचार से हटकर जीवन की गुणवत्ता (Quality of Life) को सुधारने पर केंद्रित है। इसमें निम्नलिखित महत्वपूर्ण पहलुओं पर ध्यान दिया जाएगा:

मानसिक स्वास्थ्य: मधुमेह के प्रबंधन से जुड़े तनाव और चिंता को नियंत्रित करने के लिए भावनात्मक समर्थन और परामर्श प्रदान करना।

सामाजिक जुड़ाव: मधुमेह से पीड़ित लोगों को समाज से कटे बिना सक्रिय रूप से भाग लेने के लिए प्रोत्साहित करना।

समग्र जीवनशैली: योग, ध्यान और शौक (Hobbies) के माध्यम से तनाव प्रबंधन को बढ़ावा देना।

🥗 निवारण की कुंजी: स्वस्थ जीवनशैली

डॉ. टेलर ने मधुमेह के बढ़ते मामलों के लिए खराब जीवनशैली, असंतुलित आहार, मोटापा और तनाव को प्रमुख कारण बताया। उन्होंने बचाव और नियंत्रण के लिए एक सरल लेकिन प्रभावी रोडमैप प्रस्तुत किया:

आहार में सुधार: मीठे, तले हुए और अत्यधिक प्रसंस्कृत (Processed) भोजन से बचें, और फल, सब्जियां तथा साबुत अनाज को प्राथमिकता दें।

नियमित गतिविधि: रोज़ाना कम से कम 30 मिनट का व्यायाम या शारीरिक गतिविधि आवश्यक है।

जांच: पारिवारिक इतिहास वाले व्यक्तियों के लिए नियमित रूप से ब्लड शुगर स्तर की जांच महत्वपूर्ण है।

🤝 समाज से आह्वान

अंत में, डॉ. टेलर ने समाज के हर वर्ग से जागरूकता बढ़ाने और मधुमेह से जूझ रहे लोगों को भावनात्मक और सामाजिक सहायता प्रदान करने का आग्रह किया।

“विश्व मधुमेह दिवस हमें याद दिलाता है कि यह लड़ाई केवल मधुमेह से पीड़ित व्यक्ति की नहीं है, बल्कि पूरे समाज की है। समय पर पहचान और सही प्रबंधन से मधुमेह की जटिलताओं से बचा जा सकता है और एक लंबा, स्वस्थ जीवन जिया जा सकता है,” उन्होंने निष्कर्ष निकाला।

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